Bihar Land Registry News : बिहार में एक बार फिर जमीन रजिस्ट्री के नियमों में बड़ा बदलाव होने जा रहा है आपको बता दे की 21 अक्टूबर से बिहार में बिहार के 16 जिलों में 17 कार्यालय में जमीन रजिस्ट्री 21 अक्टूबर से ऑनलाइन के माध्यम से शुरू होने के लिए बिहार में तैयारी किया जा रहा है आपको बता दे कि अब आसान तरीके से बिहार में जमीन रजिस्ट्री किया जाना अगर आप भी इंडिया में के बारे में जानना चाहते हैं तो आज कैसा आर्टिकल को अंत तक जरूर।
बिहार जमीन से जुड़ी खबरें
ऑनलाइन के माध्यम से बिहार में जमीन रजिस्ट्री किया जाना है इसकी तैयारी पूर्ण कर ली गई है या सूत्रों से खबर मिलने के अनुसार आप बताया जा रहा है कि बिहार के 16 जिलों के 17 कार्यालय में 21 अक्टूबर से ऑनलाइन के माध्यम से जमीन रजिस्ट्री के काम किया जाना है इसकी तैयारी पूरा किया जा रहा है चले जानते हैं आप किस तरीके से अपना जमीन रजिस्ट्री करवा सकते हैं ।
21 अक्टूबर से ऑनलाइन के माध्यम से होगी जमीन रजिस्ट्री ।
Bihar Land Registry News Online : जमीनी विवाद के कारण बिहार में अब ऑनलाइन के माध्यम से रजिस्ट्री करने का फैसला बिहार सरकार ली है आपको बताने की काफी ज्यादा बिहार में जमीन विवाद का मामला आते रहता है जिसके चलते क्या फैसला लिया गया है कि अब बिहार के कई सारे जिलों में ऑनलाइन के माध्यम से रजिस्ट्री करना काफी सरल है ऑनलाइन के माध्यम से जमीन रजिस्ट्री आपको केवल एक बार ही जमीन रजिस्ट्री ऑफिस में ही जाना होगा बाकी का काम घर बैठे आप कर सकते हैं चलिए इस तरीके से ।
इन जिलों में होगी 21 अक्टूबर से ऑनलाइन रजिस्ट्री
इन 16 जिलों में 21 अक्टूबर से जमीन रजिस्ट्री ऑनलाइन के माध्यम से शुरू होगी ,जगदीशपुर, पश्चिम चम्पारण ,बेतिया, कैमूर भभुआ, फारबिसगंज अररिया, बलिया बेगूसराय, शेरघाटी ,गया, फुलवरिया ,गोपालगंज,, मनिहारी कटिहार, सूर्यगढ़ा,लखीसराय, फुलपरास ,मधुबनी, केसरिया पूर्वी चम्पारण, हिलसा नालन्दा, भूतही, सीतामढ़ी एवं त्रिवेणीगंज ,सुपौल,निबंधन कार्यालय में शुरू हो रही है।
1. ऑनलाइन रजिस्ट्री प्रक्रिया : अब जमीन की रजिस्ट्री के लिए अधिकतर प्रक्रियाएं ऑनलाइन की जा रही हैं, जिससे लोगों को कार्यालयों के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे।
2. आधार और भू-अधिकार सत्यापन : रजिस्ट्री के दौरान आधार कार्ड और भूमि के अधिकारों की ऑनलाइन सत्यापन की प्रक्रिया अनिवार्य कर दी गई है। इससे फर्जी दस्तावेजों के इस्तेमाल पर रोक लगेगी।
3. ई-स्टांपिंग : स्टांप पेपर की जगह ई-स्टांपिंग को अनिवार्य किया गया है, जिससे प्रक्रिया अधिक सुरक्षित और आसानी से ट्रैक की जा सके।
4. प्रमाणपत्र अपलोड : भूमि रजिस्ट्री के दौरान आवश्यक प्रमाणपत्र जैसे जमीन का नक्शा, मालगुजारी रसीद आदि को ऑनलाइन अपलोड करने की सुविधा दी गई है।
5. सभी प्रक्रिया की ट्रैकिंग : भूमि रजिस्ट्री की स्थिति ऑनलाइन ट्रैक की जा सकती है, जिससे पारदर्शिता बढ़ेगी और समय पर रजिस्ट्री प्रक्रिया पूरी हो सकेगी।
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